चांदनी रात की कहानी/ Story of moonlight night

 


पूनम की रात थी। सड़क पर तेज चांदनी फैली थी। मैं धीरे - धीरे टहल रहा था। अचानक मुझे सीटी की आवाज सुनाई पड़ी। पहले मैंने सोचा यह कोई मुझ जैसा ही देर शाम को सैर करने वाला लड़का है। सीटी की आवाज ऊंची और प्रसन्नता भरी थी। अचानक साईकिल पर सवार एक लड़का मेरी बगल से तेजी से गुजरा मै उसका चेहरा देख नही पाया। कुछ ही मिनट में वह वापस लौट आया। इस बार वह मुझसे कुछ फुट की दूरी पर रुका और मेरी ओर मुस्कराया। वह दुबला - पतला चौदह साल का - सा लग रहा था। वह एक स्कूली ब्लेजर, एक टोपी और एक स्कार्फ पहने था। उसकी आंखे चांदनी जैसी ही चमकीली और ठंडी थीं।

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"तुम्हारी साईकिल पर घंटी नहीं लगी है" , मैंने कहा। वह कुछ नहीं बोला मैंने अपना हाथ बाहर निकाला। पर उसने उसे नहीं थामा। फिर अचानक ही वह तेजी से निकल गया। अगले दिन मुझे बताया गया कि वह सीटी वाला लड़का एक भूत था।


-------  गद्यांश से सम्बन्धित कुछ प्रश्न ---------


1. अचानक कौन दिखाई पड़ा?

A) सीटी वाला लड़का

B) चांदनी

C) चांद

D) आवाज


2. लड़के ने क्या नहीं पहना था?

A) स्कार्फ

B) टोपी

C) ओवरकोट

D) ब्लेजर


3. लड़के ने सैर करने वाले का हाथ क्यों नहीं थामा?

A) उसके हाथ नहीं थे

B) उसे वह पसन्द नहीं था

C) वह एक भूत था

D) वह उदास था


4. लड़के के बारे में सबसे अनोखी बात क्या थी?

A) वह साईकिल तेज चलाता था

B) उसकी आंखे चांदनी - सी चमकीली और ठंडी थीं

C) उसने स्कूली वर्दी पहनी थी

D) वह सीटी बजा रहा था


5. किस्सा सुनाने वाला लड़के का  चेहरा क्यों नहीं देख पाया?

A) अंधेरे के कारण 

B) लड़का तेजी से निकल गया

C) लड़के का मुंह कही और था 

D) लड़के की सूरत भद्दी थी


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